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विश्व के शीर्ष शिक्षण संस्थानों की रैंकिंग में बीएचयू 1001 से 1200 के बीच में ठिठका हुआ है। हालांकि एशियन यूनिवर्सिटी वर्ग में उसकी रैकिंग में सुधार हुआ है और तीन पायदान चढ़कर यह 34वें स्थान पर पहुंच गया है। दुनियाभर के 1500 शीर्ष शैक्षणिक संस्थानों की रैकिंग करने वाले ‘क्यूएस वर्ल्ड’ ने वर्ष-2024 की रैकिंग जारी कर दी है। ओवरऑल रैकिंग में इस बार बीएचयू को यहां की आईआईटी ने पछाड़ दिया है।
वर्ष-2021 में बीएचयू को इस रैंकिंग में कोई स्थान नहीं मिला था। जबकि 2022 और 23 में बीएचयू रैंकिंग में विश्व के शीर्ष संस्थानों के 1001 से 1200 के स्लॉट में ही रहा। इस वर्ष दक्षिण एशियाई देशों के शिक्षण संस्थानों में बीएचयू की रैंकिंग 34 और पूरे एशिया में 199 है। सस्टेनेबिलिटी रैंकिंग में बीएचयू ने पिछले वर्ष की अपेक्षा निचले पायदान पर स्थान पाया है। 2023 में 601 से 700 के पायदान पर रहा बीएचयू इस बार 981 से 1000 के स्लॉट में आ गया है। अपने वर्ग में बीएचयू ने 26.6 अंक हासिल किए हैं। सबसे ज्यादा 80.1 अंक इंटरनेशनल रिसर्च नेटवर्क में मिले हैं। इसके बाद पीएचडी शिक्षकों की संख्या पर 41.3 अंक, शैक्षणिक ख्याति पर 26 और शिक्षक-छात्र अनुपात पर 20.6 अंक मिले हैं।
वहीं, आईआईटी बीएचयू को वर्ल्ड रैंकिंग में 571वां और सस्टेनेबिलिटी रैंकिंग में 684वां स्थान मिला है। दक्षिणी एशिया की रैंकिग 59 और पूरे एशिया में 271 से 280 के बीच है। आईआईटी को पीएचडी शिक्षकों की संख्या पर पूरे 100 अंक मिले हैं जबकि फैकेल्टी की ओर से पेपर पब्लिशिंग पर 93.8 अंक दिए गए हैं। इंटरनेशनल रिसर्च नेटवर्क में 18.9 और शैक्षणिक ख्याति में 10.6 अंक मिले हैं।